Ayaz Jhanswi
----------------------------------------------------------------------------------------------------------------------------------------------
देखा तो मेरा साया भी मुझ से जुदा मिला
देखा तो मेरा साया भी मुझ से जुदा मिला
सोचा तो हर किसी से मेरा सिलसिला मिला
शहर-ए-वफ़ा में अब किसे अहल-ए-वफ़ा कहें
हम से गले मिला तो वो ही बेवफ़ा मिला
फ़ुर्सत किसे थी जो मेरे हालात पूछता
हर शख़्स अपने बारे में कुछ सोचता मिला
उस ने तो ख़ैर अपनों से मोड़ा था मुँह हाय
मैंने ये क्या किया के मैं ग़ैरों से जा मिला
अयाज़ झांसवी
------------------------------------------------------------------------------------------------------------------------------------------
Dekha to mera saaya bhii mujh se juda mila
Dekha to mera saaya bhii mujh se juda mila
Socha to har kisi se mera silsila mila
Shahar-e-wafa mein ab kise ahal-e-wafa kahe
Hum se gale mila to wo hi bewafa mila
Fursat kise thi jo mere haalaat puchhata
Har shakhs apne baare mein kuchh sochata mila
Us ne to khair apno se moda thaa munh haay
Maine ye kya kiya ke main gairon se jaa mila
Ayaz Jhanswi
--------------------------------------------------------------------------------------------------------------------------------------------------
No comments:
Post a Comment